بسم الله الرحمن الرحيم

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ترتيب الآيةرقم السورةرقم الآيةالاية
5225658وكأين من قرية عتت عن أمر ربها ورسله فحاسبناها حسابا شديدا وعذبناها عذابا نكرا
कितनी ही बस्तियाँ हैं जिन्होंने रब और उसके रसूलों के आदेश के मुक़ाबले में सरकशी की, तो हमने उनकी सख़्त पकड़ की और उन्हें बुरी यातना दी
5226659فذاقت وبال أمرها وكان عاقبة أمرها خسرا
अतः उन्होंने अपने किए के वबाल का मज़ा चख लिया और उनकी कार्य-नीति का परिणाम घाटा ही रहा
52276510أعد الله لهم عذابا شديدا فاتقوا الله يا أولي الألباب الذين آمنوا قد أنزل الله إليكم ذكرا
अल्लाह ने उनके लिए कठोर यातना तैयार कर रखी है। अतः ऐ बुद्धि और समझवालो जो ईमान लाए हो! अल्लाह का डर रखो। अल्लाह ने तुम्हारी ओर एक याददिहानी उतार दी है
52286511رسولا يتلو عليكم آيات الله مبينات ليخرج الذين آمنوا وعملوا الصالحات من الظلمات إلى النور ومن يؤمن بالله ويعمل صالحا يدخله جنات تجري من تحتها الأنهار خالدين فيها أبدا قد أحسن الله له رزقا
(अर्थात) एक रसूल जो तुम्हें अल्लाह की स्पष्ट आयतें पढ़कर सुनाता है, ताकि वह उन लोगों को, जो ईमान लाए और उन्होंने अच्छे कर्म किए, अँधेरों से निकालकर प्रकाश की ओर ले आए। जो कोई अल्लाह पर ईमान लाए और अच्छा कर्म करे, उसे वह ऐसे बाग़़ों में दाख़िल करेगा जिनके नीचे नहरें बह रही होगी - ऐसे लोग उनमें सदैव रहेंगे - अल्लाह ने उनके लिए उत्तम रोज़ी रखी है
52296512الله الذي خلق سبع سماوات ومن الأرض مثلهن يتنزل الأمر بينهن لتعلموا أن الله على كل شيء قدير وأن الله قد أحاط بكل شيء علما
अल्लाह ही है जिसने सात आकाश बनाए और उन्ही के सदृश धरती से भी। उनके बीच (उसका) आदेश उतरता रहता है ताकि तुम जान लो कि अल्लाह को हर चीज़ का सामर्थ्य प्राप्त है और यह कि अल्लाह हर चीज़ को अपनी ज्ञान-परिधि में लिए हुए है
5230661بسم الله الرحمن الرحيم يا أيها النبي لم تحرم ما أحل الله لك تبتغي مرضات أزواجك والله غفور رحيم
ऐ नबी! जिस चीज़ को अल्लाह ने तुम्हारे लिए वैध ठहराया है उसे तुम अपनी पत्नियों की प्रसन्नता प्राप्त करने के लिए क्यो अवैध करते हो? अल्लाह बड़ा क्षमाशील, अत्यन्त दयावान है
5231662قد فرض الله لكم تحلة أيمانكم والله مولاكم وهو العليم الحكيم
अल्लाह ने तुम लोगों के लिए तुम्हारी अपनी क़समों की पाबंदी से निकलने का उपाय निश्चित कर दिया है। अल्लाह तुम्हारा संरक्षक है और वही सर्वज्ञ, अत्यन्त तत्वदर्शी है
5232663وإذ أسر النبي إلى بعض أزواجه حديثا فلما نبأت به وأظهره الله عليه عرف بعضه وأعرض عن بعض فلما نبأها به قالت من أنبأك هذا قال نبأني العليم الخبير
जब नबी ने अपनी पत्ऩियों में से किसी से एक गोपनीय बात कही, फिर जब उसने उसकी ख़बर कर दी और अल्लाह ने उसे उसपर ज़ाहिर कर दिया, तो उसने उसे किसी हद तक बता दिया और किसी हद तक टाल गया। फिर जब उसने उसकी उसे ख़बर की तो वह बोली, "आपको इसकी ख़बर किसने दी?" उसने कहा, "मुझे उसने ख़बर दी जो सब कुछ जाननेवाला, ख़बर रखनेवाला है।"
5233664إن تتوبا إلى الله فقد صغت قلوبكما وإن تظاهرا عليه فإن الله هو مولاه وجبريل وصالح المؤمنين والملائكة بعد ذلك ظهير
यदि तुम दोनों अल्लाह की ओर रुजू हो तो तुम्हारे दिल तो झुक ही चुके हैं, किन्तु यदि तुम उसके विरुद्ध एक-दूसरे की सहायता करोगी तो अल्लाह उसकी संरक्षक है, और जिबरील और नेक ईमानवाले भी, और इसके बाद फ़रिश्ते भी उसके सहायक है
5234665عسى ربه إن طلقكن أن يبدله أزواجا خيرا منكن مسلمات مؤمنات قانتات تائبات عابدات سائحات ثيبات وأبكارا
इसकी बहुत सम्भावना है कि यदि वह तुम्हें तलाक़ दे दे तो उसका रब तुम्हारे बदले में तुमसे अच्छी पत्ऩियाँ उसे प्रदान करे - मुस्लिम, ईमानवाली, आज्ञाकारिणी, तौबा करनेवाली, इबादत करनेवाली, (अल्लाह के मार्ग में) सफ़र करनेवाली, विवाहिता और कुँवारियाँ भी


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