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ترتيب الآية | رقم السورة | رقم الآية | الاية |
5056 | 56 | 77 | إنه لقرآن كريم |
| | | कि बेशक ये बड़े रूतबे का क़ुरान है |
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5057 | 56 | 78 | في كتاب مكنون |
| | | जो किताब (लौहे महफूज़) में (लिखा हुआ) है |
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5058 | 56 | 79 | لا يمسه إلا المطهرون |
| | | इसको बस वही लोग छूते हैं जो पाक हैं |
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5059 | 56 | 80 | تنزيل من رب العالمين |
| | | सारे जहाँ के परवरदिगार की तरफ से (मोहम्मद पर) नाज़िल हुआ है |
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5060 | 56 | 81 | أفبهذا الحديث أنتم مدهنون |
| | | तो क्या तुम लोग इस कलाम से इन्कार रखते हो |
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5061 | 56 | 82 | وتجعلون رزقكم أنكم تكذبون |
| | | और तुमने अपनी रोज़ी ये करार दे ली है कि (उसको) झुठलाते हो |
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5062 | 56 | 83 | فلولا إذا بلغت الحلقوم |
| | | तो क्या जब जान गले तक पहुँचती है |
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5063 | 56 | 84 | وأنتم حينئذ تنظرون |
| | | और तुम उस वक्त (क़ी हालत) पड़े देखा करते हो |
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5064 | 56 | 85 | ونحن أقرب إليه منكم ولكن لا تبصرون |
| | | और हम इस (मरने वाले) से तुमसे भी ज्यादा नज़दीक होते हैं लेकिन तुमको दिखाई नहीं देता |
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5065 | 56 | 86 | فلولا إن كنتم غير مدينين |
| | | तो अगर तुम किसी के दबाव में नहीं हो |
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