بسم الله الرحمن الرحيم

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ترتيب الآيةرقم السورةرقم الآيةالاية
49495548ذواتا أفنان
दोनों बाग़ (दरख्तों की) टहनियों से हरे भरे (मेवों से लदे) हुए
49505549فبأي آلاء ربكما تكذبان
फिर दोनों अपने सरपरस्त की किस किस नेअमतों को झुठलाओगे
49515550فيهما عينان تجريان
इन दोनों में दो चश्में जारी होंगें
49525551فبأي آلاء ربكما تكذبان
तो तुम दोनों अपने परवरदिगार की किस किस नेअमत से मुकरोगे
49535552فيهما من كل فاكهة زوجان
इन दोनों बाग़ों में सब मेवे दो दो किस्म के होंगे
49545553فبأي آلاء ربكما تكذبان
तुम दोनों अपने परवरदिगार की किस किस नेअमत से इन्कार करोगे
49555554متكئين على فرش بطائنها من إستبرق وجنى الجنتين دان
यह लोग उन फ़र्शों पर जिनके असतर अतलस के होंगे तकिये लगाकर बैठे होंगे तो दोनों बाग़ों के मेवे (इस क़दर) क़रीब होंगे (कि अगर चाहे तो लगे हुए खालें)
49565555فبأي آلاء ربكما تكذبان
तो तुम दोनों अपने मालिक की किस किस नेअमत को न मानोगे
49575556فيهن قاصرات الطرف لم يطمثهن إنس قبلهم ولا جان
इसमें (पाक दामन ग़ैर की तरफ ऑंख उठा कर न देखने वाली औरतें होंगी जिनको उन से पहले न किसी इन्सान ने हाथ लगाया होगा) और जिन ने
49585557فبأي آلاء ربكما تكذبان
तो तुम दोनों अपने परवरदिगार की किन किन नेअमतों को झुठलाओगे


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